असमंजस में बच्चे और अभिभावक: निशुल्क यूनिफॉर्म एक साल बाद भी स्कूलों में दी नहीं; कलर बदल दिया, सरकार की थी घोषणा
दैनिक भीलवाड़ा न्यूज, भीलवाड़ा। जिले में गर्मी की छुट्टियों के बाद से 1 जुलाई से नया शिक्षा सत्र शुरू हो गया है, लेकिन सरकारी स्कूलों में निशुल्क यूनिफॉर्म योजना दो सत्र से अधरझूल में लटक रही है। इससे सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों व अभिभावकों में असमंजस की स्थिति बनी हुई है। सरकारी स्कूलों में पहली से आठवीं तक पढ़ने वाले विद्यार्थियाें को निशुल्क यूनिफाॅर्म देने की राज्य सरकार ने वर्ष 2021 में घोषणा की थी, लेकिन सरकारी स्कूलों तक अब तक ना तो कपड़ा पहुंचा और ना ही सिलाई का बजट दिया है।
एक जुलाई से शुरू हुए नए सत्र में विद्यार्थी बिना यूनिफॉर्म या पुरानी यूनिफॉर्म के ही आ रहे हैं। यह जरूर कहा जा सकता है कि इस अवधि में सरकार ने यूनिफॉर्म का रंग जरूर बदल दिया है। नई यूनिफॉर्म नहीं मिलने के कारण बच्चे अभी तक पुरानी यूनिफॉर्म पहनकर ही स्कूल जा रहे हैं. लेकिन कक्षा एक से आठ तक के छात्र-छात्राओं को यूनिफॉर्म का इंतजार है. नई यूनिफॉर्म के बारे में जब अभिभावक, शिक्षकों से पूछते है तो उनके पास इसका कोई भी जबाव नहीं होता।
जानकारी के अनुसार बजट घोषणा के मुताबिक छह सौ रुपए में दो यूनिफॉर्म देनी है। जिसमें से 425 रुपए कपड़े और 175 रुपए सिलाई के हैं। कपड़े की आपूर्ति को लेकर टेंडर प्रक्रिया चल रही है, जिसके बाद स्कूलों में कपड़ा आएगा और सिलाई की राशि स्कूल प्रबंधन समिति के एसएमसी के खातों में जमा की जाएगी। सीएम ने साल 2021 के बजट में पहली से आठवीं कक्षा तक के बच्चों को नि:शुल्क यूनिफॉर्म उपलब्ध कराने की घोषणा की थी
यूनिफॉर्म का कपड़ा देगी फर्म, सिलाई का पैसा स्कूल के खातों में आएगा
मुख्यमंत्री ने वर्ष 2021 के बजट भाषण में पहली से आठवीं कक्षा तक के बच्चों को निशुल्क यूनिफॉर्म उपलब्ध कराने की घोषणा की थी। जिसमें राज्य में सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले पहली से आठवीं तक के विद्यार्थियों को सिली हुई यूनिफॉर्म निशुल्क देने का निर्णय किया गया था। इसके बाद निर्णय किया कि फर्म दो ड्रेस का कपड़ा 425 रुपए में देगी, जबकि सिलाई की राशि 175 रुपए स्कूल की एसएमसी के खाते में आएंगे।
600 रुपए में दो यूनिफॉर्म
राज्य सरकार की ओर से पिछले दिनों जारी निविदा में 600 रुपए में दो यूनिफॉर्म उपलब्ध कराने की शर्त रखी गई थी। ज्यादातर कारोबारियों ने इस शर्त की वजह से निविदा से दूरी बना ली। ज्यादातर कंपनियों का कहना था कि महंगाई के इस दौर में 600 रुपए में कपड़ा ही नहीं आता, ऐसे में सिलाई कहां से कराएंगे।
यह रहेगा यूनिफॉर्म का कलर
जानकारी के मुताबिक छात्रों को हल्की नीली शर्ट व गहरी भूरी, धूसर नेकर, पेंट, छात्राओं को हल्की नीली शर्ट, कुर्ता, गहरी भूरी, धूसर सलवार, स्कर्ट दी जाएगी। वहीं कक्षा 5वीं तक की छात्राओं को चुन्नी नहीं दी जाएगी। कक्षा छह से आठवीं तक की छात्राओं की गहरे भूरे, धूसर रंग का दुपट्टा (चुन्नी), पांचवीं तक के छात्रों को शर्ट व नेकर व कक्षा छह आठवीं तक के छात्रों के लिए शर्ट व पेंट निर्धांरित है।
सरकार ने बैंक खातों की जुटाई थी जानकारी
निशुल्क यूनिफॉर्म उपलब्ध को लेकर पिछले सत्र में सरकार ने सभी के बैंक खातों की जानकारी जुटाई थी, लेकिन अभी तक न खातों में पैसा आया और न ही बच्चों को यूनिफॉर्म मिल सकी है। नया शैक्षिक सत्र शुरू होने बावजूद अभी भी शिक्षा विभाग की कोई तैयारी नजर नहीं आ रही है।
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